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सरकार सुनिश्चित करे कि घृणा संबंधी अपराधों के लिए जिम्मेदार लोगों को कोई छूट नहीं मिले : एमनेस्टी
नई दिल्ली: राजस्थान के उदयपुर (Udaipur News) में एक दर्जी की नृशंस हत्या की निंदा करते हुए एमनेस्टी इंटरनेशनल ने कहा है कि भारत को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि घृणा संबंधी अपराधों के लिए जिम्मेदार लोगों को कोई छूट नहीं मिले तथा लोगों को किसी भी हमले से बचाने के लिए तत्काल कदम उठाए जाने चाहिए.
राजस्थान के उदयपुर में दो व्यक्तियों ने एक दर्जी की कथित रूप से गला काटकर हत्या कर दी और सोशल मीडिया पर एक वीडियो पोस्ट कर कहा कि उन्होंने ‘‘इस्लाम के अपमान’’ का बदला लेने के लिए ऐसा किया.
एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया के बोर्ड के अध्यक्ष आकार पटेल ने इस घटना पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि एमनेस्टी इंटरनेशनल कन्हैया लाल की नृशंस हत्या की कड़ी निंदा करता है. उन्होंने कहा कि भारतीय अधिकारियों को हत्या की त्वरित, गहन, स्वतंत्र, निष्पक्ष, पारदर्शी और प्रभावी जांच सुनिश्चित करनी चाहिए तथा मौत की सजा का सहारा लिए संदिग्ध लोगों को निष्पक्ष सुनवाई के दायरे में लाना चाहिए.
पटेल ने एक बयान में कहा कि भारतीय अधिकारियों को पीड़ित तथा उनके परिवारों के लिए न्याय तक पहुंच और प्रभावी निदान सुनिश्चित करना चाहिए. उन्होंने कहा कि यह घटना भेदभाव और सुनियोजित हिंसा से सभी की रक्षा और जिम्मेदार लोगों को तुरंत न्याय के दायरे में लाने के अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार दायित्वों को बनाए रखने में भारतीय अधिकारियों की विफलता को रेखांकित करती है.
उन्होंने कहा, “सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि घृणा संबंधी अपराधों के जिम्मेदार लोगों को कोई रियायत नहीं मिले और प्रतिशोध में किए जाने वाले हमलों सहित किसी भी हमले से लोगों की रक्षा के लिए तत्काल कदम उठाना चाहिए. पटेल ने कहा कि भारतीय अधिकारियों को हिंसा के कारण और हिंसा की स्थिति नहीं बनने देना चाहिए.