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हैरत: 3 साल से ग्राम प्रधानविहीन हैं बाराकोट ब्लॉक की दो ग्राम सभाएं, ग्रामीण परेशान
चंपावत। जिला प्रशासन की एक बड़ी लापरवाही सामने आई है। जिले के बाराकोट ब्लॉक की दूरस्थ सुंगरखाल व नदेड़ा ग्राम सभा में पिछले 3 वर्षों से ग्राम प्रधान का पद खाली चल रहा है जिस कारण ग्रामीणों को अपने महत्वपूर्ण कागजात बनाने में काफी दिक्कतें हो रही हैं तथा ग्राम सभा का विकास कार्य ठप पड़ चुका है।ग्रामीणों ने बताया कि 2019 में जिले में ग्राम पंचायत के चुनाव प्रशासन के द्वारा करवाए गए थे। और उनके गांव में एससी कोटे की सीट आई थी लेकिन एस सी कोटे का योग्य उम्मीदवार न मिलने के कारण ग्राम सभा में ग्राम प्रधान के चुनाव नहीं हो पाए। ग्रामीणों ने कहा प्रशासन ने कुछ समय के बाद गांव में उपचुनाव कराने की बात कही थी लेकिन 3 वर्ष बीत जाने के बाद भी ग्राम प्रधान के चुनाव नहीं करवाए गए जबकि कई बार प्रशासन से ग्राम प्रधान के चुनाव करवाने की गुहार लगाई जा चुकी है लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। ग्रामीणों ने कहा गांव में ग्राम प्रधान ना होने से गांव के सभी विकास कार्य रुक चुके हैं।
ग्रामीणों को कोई भी कार्य व प्रमाण पत्र बनाने के लिए 20 किलोमीटर दूर बाराकोट जाकर पंचायत मंत्री कार्यालय के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं। प्रधान ना होने से ग्रामीणों को सरकार द्वारा चलाई गई पेंशन योजना, राशन कार्ड, जन्म मृत्यु प्रमाण पत्र व अन्य कई महत्वपूर्ण कार्य कराने मे काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। ग्रामीणों ने जल्द से जल्द ग्राम प्रधान के चुनाव कराने की मांग की है। मालूम हो सुंदरखाल ग्राम सभा में 4 से 5000 लोग रहते हैं, वही लोहाघाट की एसडीएम रिंकू बिष्ट ने कहा कि यह मामला काफी गंभीर है। ग्राम विकास विभाग के अधिकारियों से बात की जाएगी तथा पंचायत मंत्री व ado को हफ्ते में 3 दिन गांव में जाने के लिए आदेशित किया जाएगा ताकि ग्रामीणों को समस्या का सामना ना करना पड़े। कुल मिलाकर प्रशासन की गलती का खामियाजा 3 वर्षों से ग्रामीण भुगत रहे हैं।

