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राजनीति

अगली मन की बात होगी 111वें एपिसोड से, प्रधानमंत्री ने मन की बात में इशारों इशारों में ऐसा कहा कि होने लगी लोगों में बात

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हल्द्वानी। आगामी लोकसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री के मन की बात कार्यक्रम का यह इस सत्र का आखरी संबोधन था। मां की बात कार्यक्रम में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि संभवत यहां मार्च से लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लग जाएगी। लिहाजा अब मन की बात लोकसभा चुनाव के बाद ही होगी। प्रधानमंत्री ने कहा कि इससे अच्छा और भला क्या हो सकता है कि अगला मन की बात एपिसोड नंबर 111 होगा। यानी एक तरीके से प्रधानमंत्री मोदी ने घोषित तरीके से इस बात का भी ऐलान कर दिया कि मार्च में चुनाव के बाद फिर एनडीए सरकार बनने जा रही है और वह मां की बात का 111 एपिसोड जनता के नाम संबोधित करेंगे।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक तीर से कई निशाने साधने वाला राजनीतिज्ञ माना जाता है। आज भी मन की बात कार्यक्रम में उन्होंने देश भर में तमाम सारी नई चीजों का जिक्र किया, मगर जब मन की बात एपिसोड के समापन की तरफ बड़े तो इशारों इशारों में यह कहना नहीं भूले की अगली बार भी वही मां की बात कार्यक्रम को संबोधित करेंगे। प्रधानमंत्री बोले की मां की बात का 111 एपिसोड होगा इससे बेहतर भला और क्या हो सकता है। कहां की आज मन की बात का आखिरी एपिसोड है और अगली बार जब एपिसोड की शुरुआत होगी तो वह नंबर 111 होगा। यानी यह बात एक तरीके से घोषित ऐलान था कि आगामी लोकसभा चावन के बाद भी वह मां की बात कार्यक्रम जारी रखेंगे बतौर प्रधानमंत्री।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लोकप्रिय कार्यक्रम “मन की बात”का 110 वां संस्करण में प्रधानमंत्री ने कहा की आज देश में कोई भी क्षेत्र ऐसा नहीं है जिसमें देश की नारी शक्ति पीछे रह गई हो। एक और क्षेत्र जहां महिलाओं ने अपनी नेतृत्व क्षमता का बेहतरीन प्रदर्शन है वह है प्रकृति खेती व जल संरक्षण, स्वच्छता। हर क्षेत्र में महिलाओं ने उत्कृष्ट काम किया है।

उन्होंने कहा केमिकल से जो हमारी धरती मां को दर्द हो रहा है, उसे महिलाओं ने ही सही करने का जिम्मा उठाया है।प्रधानमंत्री ने नमो ऐप ड्रोन सुनीता देवी दीदी से बात की। जो सीतापुर उत्तर प्रदेश से हैं। उन्होंने जल जीवन मिशन के बारे में महिलाओं के योगदान की बात बताई। कल्याणी प्रफुल्ल पाटील से भी बात की। महाराष्ट्र की दीदी से जल जीवन मिशन के बारे में बात कर जानकारी ली। उन्होंने बताया आज हम सब लोगों के जीवन में डिजिटल गैजेट मोबाइल से वन्यजीव के लिए भी मदद मिल रही हैं। तीन मार्च को वन्य जीव दिवस मनाया जाता है, इस दिन वन्य जीव संरक्षण के लिए मनाया जायेगा वन वर्ल्ड डिजिटल की तरह मनाया जायेगा।

हम हजारों से वन जीव और मानव एक साथ रहते आये है हमारी संस्कृति की सीख है परमार्थ परमो धर्मा यानी दूसरों की मदद करना ही सबसे बड़ा हमारा धर्म है हमारे देश के कुछ लोग निस्वार्थ भाव से समर्पित रहते हैं उन्होंने ज़िक्र किया बिहार के भोजपुर में भीम सी भावेश जी अपने क्षेत्र के मुसहर जाती के लोगों के लिए काम करते हैं। मुसहर एक अत्यंत गरीब समुदाय रहा है। भीम सी भावेश ने मुसहर समुदाय के बच्चों की शिक्षा पर फोकस कर आगे बढ़ाने का कार्य किया। आठ हजार बच्चों के भविष्य को संवारने का काम किया कुछ लोग भाषा के क्षेत्र में भी लगातार काम कर रहे हैं। ऐसे जम्मू कश्मीर में मोहम्मद मानसा ऐसे ही कार्यों में जुटे हैं। वह गोजरी भाषा के काम में जुटे हैं। गुजर बकरवाल समुदाय से आते हैं। अरूणाचल प्रदेश के वलवंत लोशो भी वांचो भाषा में अहम योगदान दिया है। कर्नाटका केवेक्टा अंबाजी का जिक्र किया। उन्होंने कहा आज के जीवन में सोसल मीडिया का अहम योगदान रहा है। इस पर भी हमें काम करने की आवश्यकता हैं।

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संपादक - कस्तूरी न्यूज़

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