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लाइब्रेरी ऑटोमेशन साफ्टवेयर कोहा डेमोनस्ट्रेशन एवं हैंड्स ऑन प्रैक्टिस की कार्यशाला का उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय में आयोजन
हल्द्वानी। पुस्तकालय एवं सूचना विज्ञान विद्याशाखा ,(बीएलआईएस)द्वारा दो दिवसीय लाइब्रेरी ऑटोमेशन साफ्टवेयर कोहा डेमोनस्ट्रेशन एवं हैंड्स ऑन प्रैक्टिस की कार्यशाला का उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय में आयोजन किया गया जिसमें मुख्य अतिथि हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल विश्वविद्यालय के केन्द्रीय पुस्तकालय के डिप्टी लाइब्रेरियन हर सिंह बिष्ट रहे। इन्होंने दो दिवसीय कार्यशाला में बीएलआईएस के 22 शिक्षार्थियों को ऑफलाइन मोड पर एवं लगभग 50 विद्यार्थियों को ऑनलाइन मोड पर कोहा सॉफ्टवेयर के विभिन्न मॉडयूल के बारे में जानकारी दी साथ ही प्रैक्टिकल भी करवाया।
कार्यशाला लेते हुए उन्होंने कोहा सॉफ्टवेयर के बारे में स्टूडेंट्स को विस्तार से जानकारी भी दी। उन्होंने बताया कि कोहा सॉफ्टवेयर एक ओपन एक्सेस सॉफ्टवेयर है जो कि कोई भी लाइब्रेरी यूजर आसानी से इंस्टाल करके इस पर बहुत से काम कर सकता है। इसके 13 मॉड्यूल हैं जिसमें कि उन्होंने सरर्कुलेशन, एक्यूजीशन, कैटलॉगिंग, टूल्स मॉड्यूल व लिस्ट के बारे में बताया। सरर्कुलेशन जिसमें हम किताबों को इश्यू व रिटर्न करते हैं, एक्यूजीशन जिसमें कि हम किताबों व जर्नर्लस को विभिन्न तरीकों से खरीदते हैं और बिलिंग से संबंधित काम करते हैं व कैटलॉगिंग जिसमें कि हम किताबों की मार्क 21 पर कैटेलॉगिंग करते हैं. जिससे कि यूजर विभिन्न तरीकों से किताबों को सर्च कर सकता है एवं इससे कैटलॉग कार्ड भी हम प्रिंट कर सकते हैं। व टूल मॉड्यूल जिसमें कि किताबों के स्पाइन टैग एवं बार कोड को कैसे प्रिंट करते हैं इसकी भी जानकारी भी दी। साथ ही स्टूडेंट्स से प्रैक्टिकल भी करवाया । जिसमें उन्होंने 10 यूजर नाम क्रिएट किए एवं 5 बुक इश्यू व रिटर्न की व 3 किताबों की एक्यूजीशिन प्रोसेसिंग की और 10 किताबों की टूलिंग एवं बार कोड जनरेट किये। बीएलआईएस के निदेशक प्रो. जितेन्द्र पांडे ने कहा कि लाइब्रेरी ऑटोमेशन सॉफ्टवेयर बीएलआईएस -21 के लाइब्रेरी ऑटोमेशन एवं नेटवर्किंग के सिलेबस का हिस्सा है और इस कार्यशाला से स्टूडेंट्स को सैद्वांतिक व व्यावहारिक ज्ञान प्राप्त हुआ।
इस कार्यशाला की अध्यक्षता करते हुए प्रो. पी.डी. पंत ने कहा कि किताबें हमारे जीवन में ज्ञान का स्तोत हैं इसके नये प्रयोगों को हमें सीखना चाहिए।
कार्यशाला की सचिव मिस प्रीति शर्मा ने बताया कि कार्यशाला में स्टडेंट्स काशीपुर, खटीमा, बनबसा, सितारगंज, कोटाबाग, लालकुंआ, टनकपुर, रुद्रपुर समेत उत्तराखंड के विभिन्न हिस्सों से आए थे। कार्यशाला का मुख्य उद्देश्य लाइब्रेरी ऑटोमेशन सॉफ्टवेयर के बारे में प्रैक्टिकल ज्ञान प्राप्त करवाना था जिससे कि वह लाइब्रेरी में नौकरी प्राप्त कर सकें। कार्यशाला के अंत में स्टूडेंट्स से फीडबैक भी लिया गया साथ ही उन्हें सर्टिफिकेट भी प्रदान किये गए। कार्यशाला के संयोजक बीएलआईएस के निदेशक प्रो, जितेन्द्र पांडे व डा. अरविंद भट्ट रहे। कार्यशाला की सचिव मिस प्रीति शर्मा रही।